Saturday, December 28, 2024
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अमेरिका में घुस कर मार सकती है उत्तर कोरिया की ये मिसाइल, टेंशन में दुनिया

उत्तर कोरिया ने 2017 के बाद पहली बार सबसे लंबी दूरी की अंतर-महाद्वीपीय बैलिस्टिक मिसाइल (आइसीबीएम) का परीक्षण करके दुनिया को चिंता में डाल दिया है. पहले न्यूज एजेंसी रायटर्स ने यह खबर दी जिसके बाद उत्तर कोरिया की मीडिया में तस्वीर जारी की. बताया जा रहा है कि यह मिसाइल जापान के दक्षिण में उसके जलक्षेत्र में गिरी है. इसने 71 मिनट तक लंबी उड़ान भरी. जापान के अधिकारियों का अनुमान है कि इसकी कुल मारक क्षमता करीब 1,100 किलोमीटर तक है. इसका मतलब है कि यह सैद्धांतिक रूप से अमेरिका के अंदर तक पहुंच सकती है.

वहीं, दक्षिण कोरिया के संयुक्त चीफ ऑफ स्टॉफ और रक्षा मंत्रालय ने कहा कि उत्तर कोरिया ने प्योंगयांग के पास स्थित सुनान क्षेत्र से अपनी अंतर-महाद्वीपीय मिसाइल का परीक्षण किया, जिसने 6,200 किलोमीटर की ऊंचाई पर 1080 किलोमीटर की दूरी तय की. जापान के प्रधानमंत्री फुमियो किशिदा और दक्षिण कोरियाई राष्ट्रपति मून जे-इन ने उत्तर कोरिया के इस कदम की निंदा की है. उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग-उन इस परीक्षण के जरिये अमेरिका और अन्य प्रतिद्वंद्वी देशों पर दबाव बनाना चाहते हैं. उत्तर कोरिया चाहता है कि विरोधी देश उसे परमाणु शक्ति से लैस राष्ट्र के रूप में स्वीकार करते हुए उस पर लगे भारी प्रतिबंधों को हटा लें.

यह इस साल उत्तर कोरिया का 12वां परीक्षण था. गत रविवार को उत्तर कोरिया ने समुद्र में संदिग्ध गोले दागे थे. विशेषज्ञों का कहना है कि उत्तर कोरिया अपने शस्त्रागार को आधुनिक बनाने के लिए तेजी से कार्रवाई कर रहा है और रुकी पड़ी परमाणु निरस्त्रीकरण वार्ता के बीच अमेरिका पर रियायतें देने के लिए इसके जरिये दबाव डालना चाहता है.

ह अक्षम्य लापरवाही : जापान
जी-7 के शिखर सम्मेलन में भाग लेने बेल्जियम पहुंचे प्रधानमंत्री फुमियो किशिदा ने कहा कि मिसाइल संभवत: होकैडो द्वीप से सटे जापानी जल क्षेत्र के पास गिरी. कहा कि यह अक्षम्य लापरवाही है. मुख्य कैबिनेट सचिव ने कहा कि जापान मिसाइल का मलबा तलाश रहा है.

द कोरिया ने की आपात बैठक
दक्षिण कोरियाई राष्ट्रपति मून जे-इन ने एक आपातकालीन राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद की बैठक बुलायी. साथ ही उन्होंने उत्तर कोरियाई नेता किम-जोंग उन की आलोचना की है. उन्होंने कहा कि आइसीबीएम परीक्षणों पर लगे प्रतिबंध को तोड़ना अंतरराष्ट्रीय समुदाय के लिए गंभीर खतरा है.

2020 में इस मिसाइल का किया गया था अनावरण
उत्तर कोरिया ने इस मिसाइल का अनावरण 2020 में किया था. उत्तर कोरिया ने कई प्रकार की नयी मिसाइलों का भी परीक्षण किया है, जिसमें एक कथित हाइपरसोनिक हथियार और एक मध्यम दूरी की मिसाइल शामिल है, जो 2017 के बाद से उसका पहला परीक्षण था. उत्तर कोरिया 2017 में तीन आइसीबीएम परीक्षणों के साथ अमेरिका की सरजमीं तक पहुंचने की क्षमता का प्रदर्शन कर चुका है.